मध्यप्रदेश : जिले शहडोल के ब्यौहारी सिविल अस्पताल में मामला सामने आया था जिसमें इलाज के लिए आए 6 वर्षीय मासूम बालक की मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि बच्चे को समय पर चिकित्सा सुविधा नहीं मिलने के कारण मौत हुई थी । मिली जानकारी के अनुसार गोपालापुर बुढ़वा निवासी 6 वर्षीय रमेश विश्वकर्मा को तेज बुखार के चलते उपचार के लिए सिविल अस्पताल लाया गया था। परिजनों के अनुसार एक ड्‌यूटी डाक्टर द्वारा जांच के नाम पर 11 सौ रुपए ले लिए गए और इलाज भी नहीं किया गया। इस दौरान बच्चे की हालत बिगड़तने लगी। परिजन इलाज की गुहार लगाते रहे, लेकिन डाक्टर नहीं आए। इलाज के अभाव में बच्चे की मौत हो गई। परिजनों द्वारा डॉक्टर पर इलाज के नाम पर पैसा लेने और समय पर इलाज नहीं करने के कारण बच्चे की मौत होने का आरोप अस्पताल प्रबनधन व डॉक्टर पर लगाया।

बेबी केयर सेन्टर हास्पिटल नई दिल्ली में भयानक आग लग गई जिसमें सात बच्चों की मौत हो गई। इस हास्पिटल के मालिक, नवीन को गिरफ्तार किया गया और दो डॉक्टरों को गिरफ्तार किया गया एक हमारा मध्यप्रदेश शहडोल संभाग एक प्रायवेट हास्पिटल है श्री राम हेल्थ केयर सेन्टर। उस हास्पिटल में हमेशा मौते होती है। डायलिसिस एवं डिलेवरी केश में कई महिलाओं की मौते हो चुकी है। इस हास्पिटल की जांच के लिए म०प्र० आर्युविज्ञान परिषद भोपाल से स्वास्थ्य चिकित्सालय सी०एम०ओ० को जांच के लिए लेटर भेजा गया। और राष्ट्रीय आर्युविज्ञान आयोग नई दिल्ली से भी लेटर भेजा गया माननीय उच्च न्यायालय ने आदेश किया कि इस प्रायवेट हास्पिटल की जांच करके तीन हफ्ते में इनको सबमिट करके पेश करें। स्वास्थ्य चिकित्सालय के डॉक्टर अधिकारी एम.एस. सागर डॉ० ए०के० लाल, डॉ० वाय०के० पासवान, डॉ० हीरालाल शुक्ला, इन भ्रष्ट अधिकारियों की टीम बनी जांच करने के लिए, लीपापोती करके झूठी रिपोर्ट बनाई डायलिसिस गणेश कुशवाहा करता रहा। और स्वास्थ्य चिकित्सालय के अधिकारी अपने स्टाफ गोपीलाल की डिग्री लगाकर झूठी रिपोर्ट बनायी। यहां के स्वास्थ्य चिकित्सालय के भ्रष्ट अधिकारी डॉक्टर लोग श्री राम हेल्थ केअर सेन्टर प्रबंधक विजय द्ववेदी व गणेश कुशवाहा इनके उपर कोई कार्यवाही नहीं किये। ईमानदारी व निष्पक्षता से जांच करते व कार्यवाही करते विजय द्विवेदी व गणेश कुशवाहा दोनों लोग जेल हवालात के अन्दर रहते आज। एक दिल्ली प्रशासन वहां की पुलिस बेबी केअर सेन्टर के मालिक के ऊपर कड़ी से कड़ी कार्यवाही करके वहां कि पुलिस गिरफ्तार कर ली।

एक हमारा शहडोल मध्यप्रदेश स्वास्थ्य चिकित्सालय भ्रष्ठ डॉक्टर व अधिकारी लोग पैसा लेकर हत्यारों को बचाते हैं अभी वर्तमान में स्वास्थ्य चिकित्सालय में डॉक्टरों ने मरीजों से खुलेआम पैसे लिये हैं ईलाज करने के लिए। न्यूज पूरी मीडिया न्यूज में आ चुका है। राजेश कुमार विशनदासानी शहडोल (म०प्र०

माननीय उच्च न्यायालय हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी मुख्य चिकित्सालय का अधिकारी एम०एस०सागर पूर्व में रहा, भ्रष्ट अधिकारी शहडोल एम०पी०। उस प्राइवेट हास्पिटल श्रीराम केयर सेन्टर में डायलिसिस के दौरान कई मरीजों की मृत्यु हो गई। कई महिलाओं की डिलेवरी होने के बाद भी मृत्यु हो रही है। माननीय उच्च न्यायालय ने आदेश दिया कि उस हास्पिटल की जांच की जाये। उस समय भ्रष्ट अधिकारी और डाक्टरों की टीम बनी थी उसी टीम में डॉ० ए०के० लाल, डॉ० वाई०के० पासवान एवं हीरालाल शुक्ला उस टीम में रहे। उसी श्रीराम हेल्थ केयर सेन्टर की जांच करके झूठी रिपोर्ट बनायी। जो टीम जांच करने जायेगी वे भी वैसे झूठी रिपोर्ट बनाकर पेश करेगी। भ्रष्ट अधिकारियों ने पैसों के दम पर हत्यारों को बचाया जाता है। शहडोल संभाग एम.पी.।

ई खबर मीडिया के लिए हरियाणा ब्यूरो देव शर्मा की रिपोर्ट