मोरनी: भोज मटोर की सबसे बड़ी पंचायत मांधना के सात वास के ग्रामीण इन दिनों पानी के लिए दर-दर भटक रहे हैं। मांधना में पेयजल संकट को लेकर लोगों में गुस्सा भी हैं कि न तो स्थानीय नेता और न ही अधिकारी इस का प्रयास कर रहे हैं। कुछ साल पहले गाँव में एक जलघर बना था। जिससे 3 दिन से पानी की सप्लाई नहीं हो रही ग्रामीणों ने कई बार यहीं से भी शिकायत की परंतु जूनियर इंजीनियर ने उनकी बातों को सुना और भरोसा दिलाया की जल्दी पानी आ जाएगा पाइप की कपलिंग टूटी है वह मंगवाई है और जल्दी से पानी की व्यवस्था चालू कर कर दी जाएगी । दूषित पानी पीने को मजबूर हैं। मांधना के समस्त सतीश शर्मा का कहना है कि इस गाँव के लोग आज भी मूलभूत सुविधा से वंचित हैं। ग्रामीण डेढ़ किलोमीटर दूर से पानी ला रहे हैं। सतीश शर्मा ने कहा कि गाँव में पानी की काफी किल्लत है। वैसे तो जल विभाग ने नलकूप लगवाये हुए हैं जिन्हे ठीक करने में समय लग सकता है उन्होंने बताया की मोरनी क्षेत्र की सबसे बड़ी पंचायत में इतना बुरा हाल है, तो अन्य छोटी पंचायत में तो क्या हाल होगा। लगभग 700 घर के लिए एक ही पंप है और वह भी काफी पुराना है पंप खराब होता है तो स्पेयर में दूसरा पंप नहीं है, यह हर महीने का काम गया हैं बार-बार मोटर खराब होना इसके बारे में कोई भी जन प्रतिनिधि व अधिकारी क्यों नहीं संज्ञान लेते जिस वजह से जिसके कारण हफ्ते से ऊपर लोगों को परेशानी हो रही है।

पानी के खाली बर्तन लेकर रोष व्यक्त करती महिलाएं

आज सतीश शर्मा मांधना ने जल विभाग के एस डी ओ से बात कि तो उन्होंने आश्वाशन दिया की ख़राब मोटर की कपलिंग ठीक करने का काम चला हुआ है और जल्दी ही जल सुचारु रूप से आ जाएगा। ग्रामीणों ने मोटर जल्दी ठीक करने को कहा और बोला अगर समय रहते ठीक नहीं किया तो उच्च अधिकारियो को इसकी शिकायत करेंगे की विभाग इस तरफ बिल्कुल ध्यान नहीं दें रहा। ख़राब मोटर की समस्या देखने अभी तक न अधिकारी आया। बिगड़ी पेयजल व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए जलदाय विभाग के अधिकारी पुख्ता प्लान बनाए।

माँधना गाँव के पंडितों के वास निवासी सतीश शर्मा ने बताया कि यह समस्या हर महीने की है इसमें कर्मचारियों और अधिकारियों की घोर लापरवाही है सतीश शर्मा कहते हैं कि मोटर चलकर कर्मचारी इधर-उधर चले जाते हैं, जिस कारण हर महीने मोटर खराब रहती है। सतीश आज एसडीओ साहब से मिले मिलने उपरांत एस डी ओ ने आश्वासन दिलाया की समस्या का जल्द समाधान हो जाएगा। अतः लापरवाही बरतने वाले कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
सतीश शर्मा ने बताया जल संकट को देखते हुए विभाग को कई बार आवेदन दिया। इसके बाद भी पहल नहीं की गयी। अधिकारी गाँव की पेयजल संकट को दूर करें। पेयजल सप्लाई चालू नहीं होने से ग्रामीणों में प्रशासन व जनप्रतिनिधियों के प्रति रोष पनप रहा है। मांधना के सात वास में जल सप्लाई को यही हाल रहता है उसे जल्द दुरुस्त किया जाए, अन्यथा जल्दी ही ग्रामीण प्रशासनिक अधिकारी से मिलेंगे।

ई खबर मीडिया के लिए हरियाणा ब्यूरो देव शर्मा की रिपोर्ट